गुजरात के खेड़ा में नवरात्रि के उत्सव के दौरान मुस्लिम युवकों की पिटाई करने को पुलिस ने सही ठहराया है तथा खंभे से बांधकर मुस्लिम युवकों की पिटाई को दायरे में रहकर की गई कार्यवाही करार दिया गया हैं।
गुजरात हाईकोर्ट में सुनवाई के दौरान पुलिस ने सफाई पेश करते हुए कहा कि शांति व्यवस्था बनाए रखने के लिए इस प्रकार की कार्यवाही करना जरूरी था. उन लोगों को काबू में करने के लिए ऐसा किया गया था, हमने यह किसी आपराधिक इरादे से नहीं किया था।
आपको बता दें कि, पिछले साल अक्टूबर में खेड़ा जिले के एक गरबा कार्यक्रम पर पथराव का आरोप लगाकर पुलिस ने 3 मुस्लिम युवकों को खंभे से बांधकर सार्वजनिक रूप से पीटा था।
इस घटना की वीडियो जैसे ही सोशल मीडिया पर वायरल हुई तो पुलिसकर्मियों के खिलाफ़ कार्यवाही की मांग उठी तथा तत्कालीन डीजीपी आशीष भाटिया ने इस घटना के जांच के आदेश दिए, जिसमें छह पुलिसकर्मियों को दोषी पाया गया था।
हालांकि अब पुलिस अधिकारियों ने हाईकोर्ट में इस कार्यवाही का यह कहकर बचाव किया कि शांति व्यवस्था बनाए रखने के लिए मुस्लिम युवकों को खंभे से बांधकर सार्वजनिक तौर पर पीटा था।